Jitiya Vrat 2023: हिंदू धर्म में जितिया व्रत का अधिक महत्व है। यह व्रत पुत्र की लंबी आयु के लिए मुख्य रूप से रखा जाता है। इसे जीवित्पुत्रिका व्रत के नाम से भी जाना जाता है। जितिया व्रत नहाय खाय से शुरू होकर सप्तमी, आष्टमी और नवमी तक चलता है। इस इस दौरान मां पुत्र प्राप्ति के लिए भी यह उपवास करती है। यह एक निर्जला व्रत है। अक्सर महिलाएं इस व्रत की तैयारी सप्ताह भर पहले ही शुरू कर देती हैं। इस साल जितिया व्रत अक्तूबर माह में रखा जाएगा। ऐसा कहा जाता है कि, ये व्रत महाभारत के समय से रखा जाता आ रहा है। जब द्रोणाचार्य का वध हो गया था तो उनके बेटे अश्वत्थामा ने आक्रोशित होकर ब्रह्मास्त्र चला दिया था। जिससे अभिमन्यु की पत्नी उत्तरा के गर्भ में पल रहा शिशु नष्ट हो चुका था। फिर अभिमन्यु की पत्नी ने ये व्रत किया और इसके बाद, श्रीकृष्ण ने शिशु को फिर जीवित कर दिया। तभी से महिलाएं अपने बच्चे की लंबी उम्र के लिए ये उपवास करती है। वीडियो में जानें जितिया व्रत में पानी कब पीना चाहिए..
Jitiya Vrat 2023: Jitiya Vrat has more importance in Hindu religion. This fast is mainly observed for the long life of the son. It is also known as Jivitputrika Vrat. Jitiya fast starts from Nahay Khay and continues till Saptami, Ashtami and Navami. During this time, the mother also fasts for the birth of a son. This is a waterless fast. Often women start preparing for this fast a week in advance. This year Jitiya Vrat will be observed in the month of October. It is said that this fast has been observed since the time of Mahabharata. When Dronacharya was killed, his son Ashwatthama got angry and fired Brahmastra. Due to which the child growing in the wo-mb of Abhimanyu's wife Uttara was destroyed. Then Abhimanyu's wife observed this fast and after this, Shri Krishna brought the child back to life. Since then women observe this fast for the long life of their children. Watch Video and Know Jitiya Vrat Me Pani Kab Pina Chahiye ?
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~HT.97~PR.111~ED.117~